ओवेरियन कैंसर क्या है: प्रकार, लक्षण और उपचार (Ovarian Cancer in Hindi)
भारत ही नहीं बल्कि दुनिया भर में कैंसर के मरीजों की संख्या लगातार बढ़ रही है। कैंसर के बढ़ते यह मामले सभी के लिए चिंता का विषय है। महिलाओं में सबसे अधिक होने वाले कैंसर में ब्रेस्ट कैंसर और सर्वाइकल कैंसर के बाद तीसरे नंबर पर ओवेरियन कैंसर है।
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ओवेरियन कैंसर क्या होता है (Ovarian Cancer in Hindi)
ओवेरियन कैंसर को यूट्रस कैंसर या अंडाशय का कैंसर भी कहते हैं। यह कैंसर होने पर अंडाशय में छोटे-छोटे सिस्ट बन जाते हैं। एक महिला में दो अंडाशय होते हैं जिसमें से एक अंडाशय गर्भाशय के बायीं और दूसरा दायीं तरफ स्थित होता है।
अंडाशय को अंग्रेजी में ओवरी कहते हैं। ओवेरियन कैंसर अंडाशय से शुरू होता है। अंडाशय महिलाओं की प्रजनन प्रणाली का एक महत्वपूर्ण अंग है। एंड अंडाशय का आकार लगभग एक बादाम के आकार जितना होता है।
अंडाशय प्रजनन के लिए अंडों का उत्पादन करता है। अंडाशय में अंडे उत्पन्न और मैच्योर (परिपक्व) होने के बाद, उससे बाहर निकल कर फैलोपियन ट्यूब में जाते हैं। फैलोपियन ट्यूब में पुरुष स्पर्म अंडो को फर्टिलाइज यानी निषेचित करता है।
उसके बाद, निषेचित अंडा गर्भाशय (यूट्रस यांनी बच्चेदानी) में प्रवेश करता है और एक भ्रूण (Embryo) में विकसित होता है। अंडाशय एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन हार्मोन का मुख्य स्रोत है।
ओवेरियन कैंसर के प्रकार (Types of Ovarian Cancer in Hindi)
ओवेरियन कैंसर की गंभीरता को ध्यान में रखते हुए उन्हें मुख्यता छ प्रकार में बांटा गया है जिसमें निम्न शामिल हैं:
- एपिथेलियल ओवेरियन कैंसर: यह सबसे सामान्य प्रकार का ओवेरियन कैंसर है। ओवरी यानी अंडाशय में होने वाले लगभग 90% ट्यूमर एपिथेलियल होते हैं।
- अंडाशयी ग्रैनुलोसा ट्यूमर: यह एक तरह का स्ट्रोमल ट्यूमर है। अंडाशयी कैंसर से ग्रसित महिलाओं में केवल 5 महिलाओं में ही इसका निदान किया जाता है।
- अंडाशयी टेराटोमा: यह एक दुर्लभ स्थिति है जो अक्सर 20-25 वर्ष की महिलाओं में होता है। अंडाशयी टेराटोमा एक तरह का रोगाणु कोशिका ट्यूमर है।
- प्राइमरी पेरिटोनियल कैंसर: यह पेरिटोनियम में होने वाला दुर्लभ कैंसर है जो अंडाशयी कैंसर के सबसे सामान्य प्रकार एपिथेलियल कैंसर के समान होता है।
- बॉर्डरलाइन ओवेरियन ट्यूमर: यह ट्यूमर असामान्य कोशिका है जो अंडाशय को ढकने वाले उत्तकों में उत्पन्न होता है। आमतौर पर यह कैंसर नहीं होता है और सर्जरी से ठीक हो जाता है।
- फैलोपियन ट्यूब कैंसर: यह भी एक प्रकार का दुर्लभ कैंसर है। महिला प्रजनन प्रणाली में होने वाले कैंसर में फैलोपियन ट्यूब कैंसर होने की संभावना लगभग 1% होती है।
ओवेरियन कैंसर के चरण (Ovarian Cancer Stages in Hindi)
ओवेरियन कैंसर के स्टेज के आधार पर उसकी गंभीरता की पुष्टि होती है। आमतौर पर कैंसर के चरण के आधार पर ही उसके उपचार के माध्यम का चयन किया जाता है। ओवेरियन कैंसर के मुख्यतः चार चरण होते हैं।
- चरण 1: इस स्थिति में कैंसर एक या दोनों अंडाशयों तक सीमित रहता है
- चरण 2: ओवेरियन कैंसर जब श्रोणि तक फैल जाता है तो उसे दूसरे चरण में रखा जाता है
- चरण 3: इस स्थिति में कैंसर पेट तक फैल जाता है
- चरण 4: जब कैंसर पेट या उससे बाहर के दूसरे अंगों में फैल जाता है तो उसे चौथे यानी आखिरी चरण में रखा जाता है
ओवेरियन कैंसर के लक्षण (Ovarian Cancer Symptoms in Hindi)
ओवेरियन कैंसर से पीड़ित महिला खुद में कुछ लक्षणों को अनुभव कर सकती है जिसमें मुख्य रूप से निम्न शामिल हो सकते हैं:
- योनि से सामान्य या असामान्य ब्लीडिंग होना (खासकर अगर आपको मेनोपॉज हो चुका हो तो)
- श्रोणि क्षेत्र में दर्द या दबाव महसूस करना
- पेट या पीठ में दर्द होना
- पेट फूलना
- पेट भरा हुआ महसूस होना या खाने में परेशानी होना
- बार-बार पेशाब करने की इच्छा महसूस होना
आमतौर पर ओवेरियन कैंसर की स्थिति में आप खुद में ऊपर दिए गए लक्षणों का अनुभव कर सकती हैं। हालांकि, ये लक्षण दूसरे कारणों से भी हो सकते हैं जिसकी पुष्टि जांच के बाद डॉक्टर द्वारा की जा सकती है।
ओवेरियन कैंसर का उपचार (Ovarian Cancer Treatment in Hindi)
ओवेरियन कैंसर का उपचार कई तरह से किया जा सकता है। कैंसर विशेषज्ञ सर्जरी, कीमोथेरेपी, हार्मोन थेरेपी, दवाएं या सर्जरी के साथ कीमोथेरेपी का संयोजन का प्रयोग करते हैं। ओवेरियन कैंसर का उपचार करने के लिए कभी-कभी रेडियोथेरेपी का भी उपयोग किया जा सकता है।
ओवेरियन कैंसर के प्रकार और चरण एवं मरीज की उम्र तथा समग्र स्वास्थ्य को ध्यान में रखते हुए इसके उपचार के प्रकार का चयन किया जाता है।
ओवेरियन कैंसर की रोकथाम कैसे करें (Prevention of Ovarian Cancer in Hindi)
कुछ उपाय मौजूद हैं जिनका पालन कर एक महिला खुद में ओवेरियन कैंसर के खतरे को कम कर सकती है। ओवेरियन कैंसर के खतरे को कम करने के लिए आप निम्न बातों का पालन कर सकती हैं:
- नियमित रूप से रक्त-कैल्शियम दर की जांच कराएं
- ट्यूबल लिगेशन और हिस्टेरेक्टॉमी से ओवेरियन कैंसर के खतरे को कम किया जा सकता है
- नियमित रूप से व्यायाम करने और स्वस्थ वजन बनाए रखने से इस बीमारी की संभावना कम होती है
- नशीले पदार्थ जैसे कि सिगरेट या शराब आदि के सेवन से ओवेरियन कैंसर का खतरा बढ़ता है, इसलिए इन सबसे परहेज कर खुद को इस बीमारी से बचाया जा सकता है।
- गर्भनिरोधक गोलियां ओवेरियन कैंसर के खतरे को कम करती हैं। विशेषज्ञ का मानना है कि गर्भनिरोधक गोलियों का सेवन बंद करने के 30 साल बाद भी ओवेरियन कैंसर का खतरा कम होता है।
- जिस महिला के परिवार में कॉलन कैंसर, प्रोस्टेट कैंसर या यूटेराइन कैंसर का इतिहास है उन्हें खुद में ओवेरियन कैंसर के लक्षणों का ध्यान रखना चाहिए। साथ ही, नियमित रूप से खुद का जांच करवाते रहना चाहिए।
इन सबके अलावा, अगर आप खुद में ओवेरियन कैंसर के लक्षणों का अनुभव करती हैं या आपको इस बात का शक है कि आप इससे ग्रसित हैं तो आपको तुरंत एक विश्वसनीय कैंसर विशेषज्ञ से परामर्श करना चाहिए।
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
ओवरी कैंसर कितना खतरनाक है?
ओवेरियन कैंसर एक गंभीर स्थिति है जिसमें आपको जल्द से जल्द विशेषज्ञ से परामर्श करना चाहिए ताकि समय पर उसका उचित जांच और उपचार किया जा सके।
क्या ओवरी कैंसर जानलेवा है?
ओवरी कैंसर की जांच या उपचार में देरी करना मृत्यु का कारण भी बन सकता है। अगर आप खुद में इसके लक्षणों को अनुभव करती हैं या आपको इस बात का संदेह है कि आप इससे ग्रसित हैं तो तुरंत विशेषज्ञ से परामर्श करें।